ब्रह्मांड में उपस्थित अरबों तारे, ग्रह, आकाशगंगाएँ, और ब्लैक होल्स असीम उर्जा अपने अंदर समेटे हुए हैं। आज आप ब्रह्मांड के ऐसे ही शक्तिशाली पिंडो की पावर को जानेंगे।
पावर को वाट (Watt) में मापते हैं। किसी काम को करने में प्रति सेकेंड जितने जूल ऐनर्जी खर्च होती है, उसे वाट कहते हैं। 1 वाट पावर = 1 जूल प्रति सेकेंड ऐनर्जी खर्च।
हर सेकेंड सूर्य 174 Petajoules ऐनर्जी पृथ्वी को देता है, जो कि 41 मेगाटन टीएनटी (TNT) बम के बराबर होती है। 15 करोड़ km दूर सूर्य पृथ्वी को केवल अपनी 0.000000045% पावर ही देता है।
टैरंटुला नेब्युला (Tarantula Nebula) में उपस्थित R136a1 सितारा अबतक का सबसे चमकदार तारा है। ये सूर्य से 47 लाख गुना ब्राइट है, और इसका पावर आउटपूट 3*10^33 वाट्स है।
R136a1 स्टार से भी 10 लाख गुना ज्यादा ब्राइट एक क्वाजार (Quasar) होता है, इसकी पावर 20 खरब सूर्यों से भी ज्यादा होती है।
गामा रे धमाके में क्वाजार से 1 हजार गुना ज्यादा पावर होती है, करीब 3 × 10^42 W की चमक और सूर्य से 1 लाख खरब गुना ज्यादा चमकदार।
सबसे अधिक शक्ती ब्लैक होल्स के ख़त्म होने और ब्लैक होल्स के आपस में टकराने से बनी ग्रेविटेशनल तरंगो से मिल सकती है। एक ग्रेविटेशनल वेब्स की पावर करबी 3.6 × 10^49 W मापी गई थी।